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वन महोत्सव 2025: आगरा के विद्यालयों और संस्थानों में इको क्लब के सहयोग से हुआ सफल आयोजन, पर्यावरण संरक्षण का लिया गया संकल्प

आगरा की उन्नत नर्सरी बनी वृक्षारोपण महाभियान की शान, वृक्षारोपण कर मनाया गया वन महोत्सव, बच्चों को वितरित किए गए फलदार व छायादार पौधे

एस. शेरवानी (ब्यूरो चीफ़) –

आगरा। उत्तर प्रदेश के विभिन्न जिलों की भांति आगरा में भी वन महोत्सव 2025 उत्साहपूर्वक मनाया गया। इस अवसर पर वन विभाग, इको क्लब, विभिन्न शैक्षणिक संस्थानों और सामाजिक संगठनों के सहयोग से वृक्षारोपण अभियान को एक नई ऊर्जा मिली। जनसहभागिता, पर्यावरणीय चेतना और पौधों की सुरक्षा को प्राथमिकता देते हुए दर्जनों स्थानों पर फलदार और छायादार पौधे लगाए गए।

वन महोत्सव 2025 का उद्देश्य केवल वृक्षारोपण तक सीमित नहीं रहा, बल्कि इसने बच्चों और युवाओं में पर्यावरण संरक्षण की जिम्मेदारी को जागरूकता के माध्यम से सशक्त बनाया।

जौपुरा में इको क्लब और विद्यालय के सहयोग से हुआ वृक्षारोपण कार्यक्रम

आगरा जनपद के जौपुरा स्थित पूर्व माध्यमिक विद्यालय में इको क्लब के संयुक्त तत्वावधान में वन महोत्सव 2025 का आयोजन किया गया। इस अवसर पर रेंज अधिकारी कृपाशंकर ने छात्र-छात्राओं और शिक्षकों को वृक्षों के महत्व के बारे में बताया। उन्होंने कहा कि “वृक्ष हमें न केवल ऑक्सीजन, फल, फूल और लकड़ी देते हैं, बल्कि पर्यावरण संतुलन बनाए रखने में भी महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।”

विद्यालय परिसर में नीम, अमरूद, आंवला, जामुन, कंजी, शहतूत, अनार जैसे विविध प्रजातियों के पौधे लगाए गए। सभी बच्चों को इन पौधों की नियमित देखभाल और संरक्षण का संकल्प दिलाया गया।

वन महोत्सव 2025

गुलाबगंज और बादशाही बाग पौधशालाओं से मिले उत्कृष्ट पौधे

आगरा के वन विभाग ने इस वर्ष वृक्षारोपण महाअभियान 2025 के लिए अपनी तैयारियों को एक नया आयाम दिया है। जिले की प्रमुख पौधशालाएँ जैसे बादशाही बाग नर्सरी, खंडेर पौधशाला, कागरोल, डबल फाटक और गुलाबगंज ने लाखों की संख्या में पौधों को तैयार कर विभिन्न विभागों को वितरित किया।

प्रमुख पौधों में कंजी, नीम, शहतूत, अमरूद, आंवला, जामुन, मोहगनी और अनार प्रमुख हैं। इन पौधों को नगर निगम, ग्राम विकास विभाग, रेशम विभाग, नगर निकाय, स्वास्थ्य विभाग और उप प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के माध्यम से जनसामान्य में वितरित किया गया।

वन महोत्सव

प्रभागीय वन अधिकारी ने दिए गुणवत्ता सुनिश्चित करने के निर्देश

प्रभागीय वन अधिकारी राजेश कुमार ने सभी नर्सरी प्रभारियों को स्पष्ट निर्देश दिए कि पौधों के उठान और लोडिंग के समय क्षति से बचाव हेतु सावधानी बरती जाए। उन्होंने पौध वितरण प्रक्रिया की गुणवत्ता और समयबद्धता की निगरानी के लिए विभागीय फीडबैक प्रणाली को भी सुदृढ़ किया।

इस पारदर्शिता के चलते विभिन्न विभागों के बीच बेहतर समन्वय बना और वृक्षारोपण अभियान और अधिक प्रभावी एवं संगठित हुआ।

वन महोत्सव

एत्मादपुर में RUDSETI संस्था में हुआ वन महोत्सव कार्यक्रम

एत्मादपुर रेंज के अंतर्गत स्थित Rural Development and Self Employment Training Institute (RUDSETI) में भी वन महोत्सव 2025 के अंतर्गत वृक्षारोपण कार्यक्रम आयोजित किया गया। संस्थान के निदेशक जितेंद्र कुमार ने बच्चों के साथ पौधारोपण करते हुए कहा कि “पर्यावरण संरक्षण केवल सरकार या विभागों का काम नहीं, यह हर नागरिक की नैतिक जिम्मेदारी है।”

इस अवसर पर बच्चों को 50 फलदार और छायादार पौधे जैसे नीम, आंवला, जामुन और अमरूद वितरित किए गए और उन्हें उनकी देखभाल की विधियाँ भी सिखाई गईं।

रेंज अधिकारी श्रीमती पुनीता यादव ने बच्चों को वन महोत्सव की शुभकामनाएँ देते हुए कहा कि “जो पौधे हम आज लगाएँगे, वही भविष्य में हमें स्वच्छ हवा और शीतल वातावरण देंगे।”

वन महोत्सव

जगनेर के विद्यालय में छात्रों को दी गई जलवायु परिवर्तन की जानकारी

खेरागढ़ रेंज के अंतर्गत स्थित उच्च प्राथमिक विद्यालय, जगनेर, आगरा में भी वन महोत्सव 2025 का आयोजन वृक्षारोपण के साथ हुआ। रेंज अधिकारी सम्यक कैन ने बच्चों को जलवायु परिवर्तन के खतरे समझाते हुए बताया कि वृक्षारोपण के माध्यम से हम इस वैश्विक संकट से निपट सकते हैं।

विद्यालय परिसर में विभिन्न प्रकार के पौधे लगाए गए और सभी विद्यार्थियों को पौधों की देखभाल का संकल्प दिलाया गया। साथ ही शिक्षकों को भी इस अभियान का सक्रिय सहयोगी बनने का आह्वान किया गया।

पर्यावरण संरक्षण में सभी की भागीदारी अनिवार्य: वन विभाग

वन विभाग आगरा ने अपील की कि पर्यावरण संरक्षण और वृक्षारोपण को केवल औपचारिकता न बनाकर जनांदोलन बनाया जाए। उन्होंने कहा कि “हर व्यक्ति यदि एक पौधा लगाए और उसकी देखभाल करे, तो हम आगरा को हरियाली में आत्मनिर्भर बना सकते हैं।”

वन महोत्सव

वन महोत्सव 2025: बच्चों में बढ़ी प्रकृति के प्रति चेतना

इस वर्ष वन महोत्सव 2025 के माध्यम से जो सबसे बड़ी उपलब्धि रही, वह रही बच्चों में प्रकृति और पर्यावरण के प्रति संवेदनशीलता का जागरण। चाहे वह जौपुरा का विद्यालय हो या एत्मादपुर का संस्थान, हर जगह बच्चों ने न केवल पौधे लगाए, बल्कि उनके संरक्षण का संकल्प भी लिया।

विद्यालयों में इस अवसर पर पोस्टर प्रतियोगिता, चित्रकला, निबंध लेखन जैसे कार्यक्रमों के माध्यम से जलवायु परिवर्तन, ग्रीन इंडिया मिशन, प्रदूषण नियंत्रण जैसे विषयों पर संवाद किया गया।

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निष्कर्ष: हरियाली ही भविष्य की खुशहाली

वन महोत्सव 2025 आगरा के लिए केवल एक समारोह नहीं रहा, बल्कि यह एक पर्यावरणीय जन-जागरण अभियान में परिवर्तित हो गया। इको क्लब, वन विभाग, शैक्षणिक संस्थान और सामाजिक संगठन मिलकर इस संदेश को जन-जन तक पहुँचा रहे हैं कि “वृक्षारोपण = जीवन रक्षा“।

इस पहल में नीम, आंवला, जामुन जैसे औषधीय पौधे न केवल हमारे स्वास्थ्य के लिए उपयोगी हैं, बल्कि भूमि संरक्षण, जलस्तर संतुलन और वायु शुद्धिकरण में भी अमूल्य योगदान देते हैं।

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